
दुर्गा माता का यह स्वरूप सुंदरता का स्वरूप और निर्भयता का स्वरूप है।
माता के मस्तक पर घंटे के आकार का आधा चंद्र है, इसलिए इनको चंद्रघंटा कहा जाता है।
चंद्र को सुंदरता प्रतीक कहा जाता है और दुर्गा माता का यह रूप सोना जैसे एकदम चमकीला होता है वैसा ही चमकीला है, इसलिए यह स्वरूप सुंदरता का स्वरूप है।
घंटे की भयानक आवाज से अत्याचारी दानव- दैत्य या राक्षस भयभीत हो जाते है, इसलिए यह स्वरूप निर्भयता का स्वरूप है।
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